
ब्रह्म दत्त ब्लू बैल्स पब्लिक स्कूल गुरुग्राम में साइबर स्पेज 2025 का आयोजन
Bilkul Sateek News
गुरुग्राम, 30 जुलाई। ब्रह्म दत्त ब्लू बैल्स पब्लिक स्कूल का चार दिवसीय अंतर-विद्यालय आई.टी. उत्सव ‘साइबरस्पेज 2025’ 25 से 29 जुलाई तक ‘बेहतर कल के लिए प्रौद्योगिकी’ विषय पर आधारित था। यह आयोजन डिजिटल साक्षरता, रचनात्मकता और 21वीं सदी की दक्षताओं का एक जीवंत उत्सव था, जिसका उद्देश्य कक्षा 3 से 12 तक के छात्रों में नैतिक साइबर उपयोग और जिम्मेदार डिजिटल नागरिकता के मूल्यों का संचार करना था।
25 जुलाई को आयोजित उद्घाटन समारोह छात्रों द्वारा गर्मजोशी व उत्साहपूर्वक शुरू हुआ, जिसके बाद दीप प्रज्ज्वलन और एक आकर्षक सांस्कृतिक नृत्य प्रस्तुति हुई।
ब्लू बैल्स ऑफ स्कूल्स की आईटी निदेशिका अंशुका अनेजा ने औपचारिक रूप से कार्यक्रम की शुरुआत की और सभी प्रतिभागियों को अपनी शुभकामना दीं, जिससे चार दिनों के नवाचार, सहयोग और सीखने का मंच तैयार हुआ। पूरे उत्सव के दौरान कई ऊर्जावान, तकनीक-एकीकृत प्रतियोगिताएं आयोजित की गईं, जिन्होंने छात्रों को सामूहिक कार्य और नवाचार को बढ़ावा देने वाले माहौल में अपनी रचनात्मकता, कोडिंग कौशल, डिजाइन सोच और समस्या-समाधान क्षमताओं का प्रदर्शन करने के लिए एक गतिशील मंच प्रदान किया।
29 जुलाई को आयोजित समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में गुरुग्राम के साइबर अपराध प्रकोष्ठ के ए.सी.पी. प्रियांशु दीवान और विशिष्ट अतिथि के रूप में साइबर सुरक्षा एवं सड़क सुरक्षा अधिकारी राज कुमार उपस्थित रहे। ए.सी.पी. दीवान ने साइबर सुरक्षा, डिजिटल नैतिकता और एक सुरक्षित डिजिटल भविष्य को आकार देने में युवाओं की महत्वपूर्ण भूमिका पर एक सम्मोहक भाषण दिया। उन्होंने बताया कि सूचना के संसाधनों का प्रयोग करते समय यदि कोई किसी को अपशब्द कहता है या मानसिक रूप से प्रताड़ित करता है तो उसके लिए न्यायालय द्वारा सजा का भी प्रावधान किया गया है। साइबर संबंधी समस्या के सामाधान के लिए आप 1903 पर फोन कर सकते हैं पुलिस आपकी सेवा में हमेशा तत्पर है। राज कुमार ने स्कूल की पहल और विद्यार्थियों की डिजिटल कुशाग्रता के प्रभावशाली प्रदर्शन की सराहना करते हुए प्रोत्साहन भरे शब्द भी साझा किए।
साइबरस्पेज 2025 एक शानदार समापन के साथ प्रेरणा, नवाचार और डिजिटल जागरूकता के प्रति एक नई –
प्रतिबद्धता की एक सशक्त छाप छोड़ते हुए संपन्न हुआ। इस उत्सव ने न केवल छात्रों की तकनीकी प्रतिभा का जश्न मनाया, बल्कि उनमें जिज्ञासा, भविष्यवादी सोच और डिजिटल जिम्मेदारी की गहरी भावना भी जगाई – जो भविष्य के वैश्विक नागरिकों की सच्ची पहचान है।