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Bilkul Sateek News
चंडीगढ़, 27 मार्च। हरियाणा विधानसभा में आज बजट पर चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने आज विपक्ष की आलोचनाओं पर पलटवार करते हुए कहा कि मेरे बजट भाषण का अधिकांश हिस्सा प्रदेश के जनमानस की सोच थी। उन्होंने कहा कि ये मेरे गर्व का विषय है कि यह प्रदेश के लिए गर्व का विषय है कि बजट भाषण का एक-तिहाई से भी अधिक हिस्से का कोई भी वाक्य मेरा वाक्य नहीं था बल्कि हरियाणा के जनमानस की सोच थी। उन्होंने कहा कि आपने मुझे बजट चर्चा पर बोलने का अवसर दिया इसके लिए आपका धन्यवाद।
बजट चर्चा के दौरान सीएम सैनी के जवाब के मुख्य अंश इस प्रकार है…
वर्ष 2025-26 के लिए मेरे बजट प्रस्तावों पर कुल 8 घंटे 26 मिनट विचार मंथन हुआ।
सभी सथियों का उनके विचारों और रचनात्मक सुझावों के लिए आभार।
विपक्ष ने बजट भाषण के पेजों की संख्या, उसमें पैराग्राफ की संख्या और बजट अनुमान की बढ़ोतरी की बात कही।
2011-12 के बजट भाषण में 55 पेज, 2013-14 के बजट भाषण में 48 पेज और 2014-15 के बजट भाषण में 36 पेज थे।
मेरे बजट भाषण में कुल 161 पैरा थे। इसकी तुलना में इनके 2011-12 के बजट भाषण में 170 पैरा थे।
बजट भाषण के 161 पैरो में से 11 पैरे केवल और केवल ऐसे सैकड़ों सुझावों पर थे, जो हरियाणा के आमजन से मुझे मिले।
इन 11 पैरो ने कुल 27 पेजों का स्थान ले लिया।
यह प्रदेश के लिए गर्व का विषय है कि बजट भाषण का एक-तिहाई से भी अधिक हिस्से का कोई भी वाक्य मेरा वाक्य नहीं था बल्कि हरियाणा के जनमानस की सोच थी।
प्रदेश के कोने-कोने से मिले सुझावों को एकत्रित करने की इस प्रकिया को हमने महाकुंभ की संज्ञा दी।
हरियाणा की श्रद्धेय मातृशक्ति, कर्मठ किसानों, मेहनती मजदूरों, ऊर्जावान उद्यमियों, विवेकी व्यापारियों, योग्य युवाओं, सम्मानित बुजुर्गों और अपने गरीब भाइयों व बहनों का उनके बहुमूल्य सुझावों के लिए धन्यवाद।
28 पेज वाले मापदंड पर जिस भाषण के 27 पेज सिर्फ हरियाणा की जनता ने लिखे हों, उस पर रूटीन की छींटाकशी नहीं होनी चाहिए।
भूपेंद्र सिंह हुड्डा जी ने कहा कि बजट 2024-25 से केवल 6-7 प्रतिशत वृद्धि दिखाता है और मैंने इसे 13.7 प्रतिशत बताया।
वर्ष 2025-26 का 2,05,017 करोड़ रुपये का बजट प्रस्ताव रखा गया, आज वर्ष 2025-26 का ना तो कोई संशोधित अनुमान (Revised Estimate) है और ना ही वास्तविक (Actual) आंकड़ा है और न ही हो सकता है।
मौजूदा वर्ष अर्थात् 2024-25 के बजट के केवल दो आंकड़े आज उपलब्ध हैं, Budget Estimate और Revised Estimate मेरे द्वारा वर्ष 2025-26 के लिए प्रस्तावित 205017 करोड़ रुपये वर्ष 2024-25 के बजट से कितने प्रतिशत अधिक हैं- इस प्रश्न के दो उत्तर संभव है
2024-25 के Revised Estimate से वृद्धि निकालेंगे तो यह 13.7 प्रतिशत होगी और यदि 2024 -25 के Budget Estimate से वृद्धि निकालेंगे तो यह 7.97 प्रतिशत होगी।
वित्त वर्ष का बजट अनुमान प्रस्तुत करते हुए वह पिछले बजट से कितने प्रतिशत अधिक है, यह बताने के लिए दो ही संभावनाएं होती हैं।
मैंने इसके लिए 2024-25 के Revised Estimate प्रतिशतता निकाल कर न तो कोई गलत काम किया और न ही कोई नया काम किया।
बजट भाषण 2013-14 के पैरे 138 में तत्कालीन वित्त मंत्री सरदार हरमोहिंदर सिंह चट्ठा सदन में जो कहा वो इस प्रकार है।
“वर्ष 2013-14 के लिए बजट अनुमानों के तहत कुल खर्च (पुनर्भुगतानों को छोड़कर) 53,073.59 करोड़ रुपये दर्शाया गया है, जिसमें राजस्व खर्च 46,223.56 करोड़ रुपये और पूंजीगत खर्च 6,850.03 करोड़ रुपये है।
तब हरमोहिंदर सिंह चट्ठा ने कहा था कि संशोधित अनुमान 2012-13 के संगत आंकड़ों की तुलना में इन श्रेणियों में क्रमशः 6660.30 करोड़ रुपये, 5236.11 करोड़ रुपये और 1424.19 करोड़ रुपये की वृद्धि दर्ज हुई है।
वित्त मंत्री अपने विवेक से प्रतिशत वृद्धि पिछले वर्ष के बजट अनुमान से तुलना करके बता दें या फिर पिछले वर्ष के संशोधित अनुमान से तुलना करके बताए।
विपक्ष के वित्त मंत्री संशोधित अनुमान से वृद्धि बताएं तो ठीक और मैं बताऊं तो गलत – यह तो उचित नहीं।
2,05,017 करोड़ रुपये का मैंने जो बजट प्रस्ताव रखा, उसे भूपेंद्र सिंह हुड्डा साहब ने वर्ष 2024-25 के अनुमानित 1,89,000 करोड रुपये से 6-7 प्रतिशत अधिक बताया है।
भूपेंद्र सिंह हुड्डा दोबारा गुणा-भाग कर लें तो यह प्रतिशतता 7.97 प्रतिशत यानि 8 प्रतिशत निकलेगी।
2025-26 का मेरा बजट एस्टीमेट, वर्ष 2014-15 के बजट एस्टीमेट जो 73,301 करोड़ रुपये का था, से 180 प्रतिशत ज्यादा है।
वर्ष 2014-15 के रिवाइजड एस्टीमेट जो 72,096 करोड़ रुपये था, उससे 184 प्रतिशत ज्यादा और वर्ष 2014-15 के वास्तविक (Actual) आंकड़ा जो 61,904 करोड़ रुपये था, उससे 231 प्रतिशत ज्यादा।
मैंने परंपरा को निभाते हुए पिछले साल के रिवाइजड एस्टीमेट से ही तुलना की।
वर्ष 2014-15 तक हरियाणा का बजट इसीलिए कम था कि तब महंगाई कम थी।
महंगाई मापने का पैमाना होता है होलसेल प्राइस इंडेक्स अर्थात् WPI.
वर्ष 2011-12 के स्थिर मूल्यों पर वर्ष 2014-15 में WPI था 113.9, वर्ष 2024-25 में WPI है 154.8
इसका अर्थ हुआ कि आपके 61,904 करोड़ रुपये जोकि 2014-15 का वास्तविक बजट था, वो केवल महंगाई के हिसाब से बढ़ता तो आज केवल 78,618 करोड़ रुपये होता।
जबकि हमारा 2025-26 का बजट प्रस्ताव 2,05,017 करोड़ रुपये है।
विपक्ष को सपने में भी पीपीपी नजर आता है, ये पीपीपी में यानि पेज, पैराग्राफ और प्रतिशत में ही देख रहे हैं।